सामान्य बेरोजगारी
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सामान्य बेरोजगारी (General Unemployment)

सामान्य बेरोजगारी तब होती है जब एक व्यक्ति काम करने योग्य होता है (जैसे उसकी उम्र, शारीरिक और मानसिक स्थिति ठीक है), वह काम करना चाहता है लेकिन उसे किसी भी क्षेत्र में नौकरी नहीं मिल पाती।

यह बेरोजगारी तब सामने आती है जब देश की अर्थव्यवस्था कमजोर हो, नौकरी के अवसरों की कमी हो, शिक्षा या कौशल (स्किल्स) की पर्याप्तता न हो या फिर सरकारी नीतियाँ कमजोर हों।

इसके मुख्य कारण:

  • रोजगार की मांग ज्यादा और नौकरियाँ कम।
  • शिक्षा के बाद भी नौकरी न मिलना।
  • तकनीकी जानकारी और कौशल की कमी।
  • ग्रामीण इलाकों से शहरी पलायन, पर शहरी क्षेत्रों में भी रोजगार की कमी।

उदाहरण:

रामू एक गांव में रहता है। उसने 12वीं तक पढ़ाई की है और शहर में नौकरी की तलाश में आया है। लेकिन ना उसके पास कंप्यूटर स्किल है, ना ही कोई डिग्री। उसे कोई भी कंपनी नौकरी नहीं दे रही। ऐसे में रामू "सामान्य बेरोजगारी" का एक उदाहरण है।

इसका असर:

  • व्यक्ति की आर्थिक स्थिति कमजोर होती है।
  • मानसिक तनाव और चिंता में वृद्धि होती है।
  • देश की उत्पादन क्षमता घटती है।
  • असमानता और सामाजिक अपराध बढ़ सकते हैं।

आप किस प्रकार की बेरोजगारी में आते हैं?

अगर आपको लगता है कि आप सामान्य बेरोजगारी से ग्रसित हैं, तो नीचे दिए गए बटन पर क्लिक करें और फॉर्म भरें:

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